Dr. Syama Prasad Mookerjee Research Foundation

Salient Points of PM Modi’s Speech at the Golden Jubilee Celebrations of BAIF at Pune via video conferencing on 24 Aug, 2017

  • आज, 24 अगस्त, यानि संस्था के स्थापना दिवस को आप गर्व दिवस के रूप में मनाते हैं।
  • मेरे लिए ये व्यक्तिगत रूप से बहुत सुखद होता कि मैं आज आपके बीच आकर आपकी खुशियों में शामिल होता, आपके नए अनुभव सुनता, आपसे कुछ नया सीखता।
  • आज यहां इस कार्यक्रम में कई पुरस्कार भी दिए गए हैं। सम्मान पाने वालों में कुछ सेल्फ हेल्प ग्रुप हैं, कुछ को व्यक्तिगत प्रयासों की वजह से पुरस्कार मिला है। कोई कर्नाटक का है, कोई गुजरात का है, कोई महाराष्ट्र का है, कोई झारखंड का है। मैं उन्हें भी बधाई देता हूं और ये कामना करता हूं कि इसी तरह वो समाजहित में काम करते रहेंगे।
  • आज सरकार बीज से बाजार तक किसान के साथ खड़ी है। पानी की एक-एक बूंद के इस्तेमाल पर जोर है। ऑर्गैनिक खेती और crop diversification को बढ़ावा दिया जा रहा है। किसानों को मिट्टी की सेहत की जानकारी के लिए अब तक 9 करोड़ से ज्यादा सॉयल हेल्थ कार्ड दिए जा चुके हैं।
  • e-NAM योजना के तहत देशभर की 500 से ज्यादा कृषि मंडियों को ऑनलाइन जोड़ा जा रहा है। अभी हाल ही में “प्रधानमंत्री किसान संपदा योजना” भी शुरू की गई है। इसका मकसद देश में भंडारण की समस्या से निपटना और फूड प्रोसेसिंग को बढ़ावा देना है।
  • “बायफ” बहुत ही सेवाभाव से बरसों से इस कार्य में लगा हुआ है लेकिन आज मैं आपके बीच कुछ नए विचारों की seeding या बीजारोपण करना चाहता हूं। ये किसी एक्सपर्ट को राय या ज्ञान देना नहीं है बल्कि एक एक्सपर्ट से आग्रह करने की तरह है।
  • एक रिपोर्ट के मुताबिक देश के पशुपालन सेक्टर को लगभग 70 प्रतिशत महिलाएं मिलकर संभाल रही हैं। चाहे जानवरों के लिए चारे का इंतजाम हो, पानी की व्यवस्था हो, दवाई-दूध, सारे काम प्रमुखता से महिलाएं ही कर रही हैं।
  • यानि एक तरह से देश का पशुपालन सेक्टर पूरी तरह महिलाओं की कुशलता पर टिका हुआ है। इसलिए आज बहुत आवश्यकता है कि महिला सेल्फ हेल्प ग्रुप को veterinary education, रिसर्च, सर्विस डिलिवरी सिस्टम के बारे में विशेष ट्रेनिंग दी जाए। जितनी ज्यादा महिलाएं इस फील्ड में trained होंगी, उतना ही देश का पशुधन मजबूत होगा और खुद महिलाओं का भी भला होगा।
  • साथियों, Green Revolution और White Revolution से देश भली भांति परिचित है। समय की मांग ये है कि Blue Revolution के द्वारा हमारे मछुवारे भाइयों के जीवन में बदलाव लाया जाए, Sweet Revolution, यानि मधुमक्खी पालन और शहद उत्पादन द्वारा किसानों की आय बढ़ाई जाए।
  • Green Revolution, White Revolution के साथ अब हम Blue Revolution, Sweet Revolution और water revolution को जोड़ने के लिए काम कर रहे हैं।
  • मधुमक्खी पालन हो, मछली पालन हो, गन्ने, crop रेसिड्यू से इथेनॉल का उत्पादन हो, इनसे आज के समाज की डिमांड पूरी होती है और इसलिए परंपरागत खेती में जुटे किसानों को ऐसे सब-सेक्टर्स के प्रति जागरूक करने का काम, उनकी मदद करने का काम “बायफ” बखूबी कर सकती है।
  • सरकार द्वारा अपनी तरफ से पानी की कमी दूर करने की कोशिश लगातार की जा रही है। प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना के तहत 99 ऐसे projects पूरे किए जा रहे हैं जो बहुत समय से अधूरे पड़े हुए थे। इनमें से 21 projects इस साल पूरे हो चुके हैं। इसके साथ-साथ इस बात पर भी जोर दिया जा रहा है कि पानी की हर बूंद का हम बेहतर इस्तेमाल करें।
  • Drip irrigation, micro irrigation और crop diversification भी इसका माध्यम हैं। मनरेगा की भी 60 प्रतिशत से ज्यादा राशि सरकार जल संरक्षण और जल प्रबंधन पर ही खर्च कर रही है।
  • इसके अलावा प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना और बैंकों से ही कर्ज लेने के लिए प्रोत्साहित करके भी इन इलाकों के किसानों की जिंदगी आसान बनाने में आप मदद कर सकते हैं।
  • साथियों, waste to wealth भी ऐसा विषय है, जो आज की आवश्यकताओं और भविष्य की चुनौतियों से जुड़ा हुआ है।
  • Agriculture waste की recycling का काम हो, compost बनाने का काम हो, इससे भी किसानों की आमदनी बढ़ सकती है और पूरे गांव को इसका फायदा मिल सकता है।
  • मेरा आग्रह है आपसे, जो विचार आपके सामने मैंने रखे हैं, उस से जुड़े हुए कुछ नए संकल्पों को अपने साथ जोड़िए। 2022 में, जब देश स्वतंत्रता के 75 वर्ष पूरे करेगा, तब आपके संकल्पों की सिद्धि से देश के करोड़ों किसानों की सफलता सिद्ध होगी।